बागपत: उत्तर प्रदेश के बागपत जिले के छपरौली थाना क्षेत्र के रठौड़ा गांव में एक दिल दहलाने वाली घटना ने सभी को झकझोर दिया। 15 जुलाई 2025 की रात 28 वर्षीय मनीषा, पुत्री तेजबीर, ने ससुराल पक्ष के दहेज उत्पीड़न और मानसिक प्रताड़ना से तंग आकर जहरीली दवा खाकर आत्महत्या कर ली। मनीषा ने मरने से पहले अपने हाथ और पैर पर मार्कर पेन से सुसाइड नोट लिखा, जिसमें उसने ससुराल वालों की क्रूरता, मारपीट और जबरन गर्भपात का जिक्र किया। यह घटना समाज में दहेज की बुराई और महिलाओं पर होने वाले अत्याचारों को फिर से उजागर करती है।
दहेज में थार गाड़ी और नगद राशि की मांग बनी मौत का कारण
मनीषा की शादी 2023 में गाजियाबाद के सिद्धिपुर गांव निवासी कुंदन, पुत्र किशन, के साथ हिंदू रीति-रिवाजों से हुई थी। शादी के कुछ महीनों बाद ही ससुराल वालों ने दहेज में थार गाड़ी और नगद राशि की मांग शुरू कर दी। मनीषा के पिता तेजबीर, जो गाजियाबाद में एमसीडी में नौकरी करते हैं, ने बताया कि ससुराल पक्ष ने मनीषा के साथ मारपीट की और गर्भवती होने पर उसका जबरन गर्भपात भी करवाया। जुलाई 2024 में तेजबीर अपनी बेटी को ससुराल से मायके ले आए, लेकिन ससुराल पक्ष का उत्पीड़न फोन के जरिए जारी रहा।
मनीषा ने घर में रखी गेहूं की कीटनाशक दवा खा ली
चार दिन पहले ससुराल पक्ष के 20-25 लोग मनीषा के मायके पहुंचे और शादी का खर्च और सामान वापस करने की सहमति बनी। मनीषा ने साफ कहा कि जब तक दहेज और खर्च की पूरी भरपाई नहीं होगी, वह तलाकनामे पर हस्ताक्षर नहीं करेगी। इस बात से वह गहरे तनाव में चली गई। मंगलवार रात, जब परिवार सो रहा था, मनीषा ने घर में रखी गेहूं की कीटनाशक दवा खा ली। सुबह उसकी मां सुनीता उसे जगाने गईं तो वह मृत पाई गई। तेजबीर को सूचना मिलने पर वह गांव पहुंचे और पुलिस को सूचित किया।
शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है, और जांच शुरू कर दी गई है
छपरौली थाना प्रभारी निरीक्षक देवेश शर्मा ने बताया कि शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है, और जांच शुरू कर दी गई है। हालांकि, परिवार ने अभी तक लिखित तहरीर नहीं दी है, जिसके बाद विधिक कार्रवाई की जाएगी। मनीषा के सुसाइड नोट में ससुराल पक्ष के नाम और उनके अत्याचारों का स्पष्ट उल्लेख है, जो पुलिस के लिए जांच का आधार बनेगा। गांव में इस घटना से सन्नाटा पसरा है, और परिवार गहरे शोक में है।
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