सहारनपुर: उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता फरहाद आलम गाडा के खिलाफ स्कूली बच्चों को ‘राजनीतिक एबीसीडी’ सिखाने के आरोप में FIR दर्ज की गई है। एक वायरल वीडियो में फरहाद बच्चों को “A फॉर अखिलेश”, “B फॉर बाबासाहेब”, “D फॉर डिंपल”, और “M फॉर मुलायम सिंह यादव” पढ़ाते दिखे, जिसके बाद स्थानीय निवासी की शिकायत पर पुलिस ने कार्रवाई की। इस घटना ने सियासी तूफान खड़ा कर दिया है, जिसमें सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने BJP सरकार पर शिक्षा विरोधी होने का आरोप लगाया।
वायरल वीडियो और FIR
सहारनपुर पुलिस के अनुसार, रामनगर में फरहाद आलम के घर पर ‘PDA पाठशाला’ के दौरान फिल्माया गया एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। इसमें निजी स्कूल के यूनिफॉर्म पहने बच्चे सपा नेताओं के नामों से अक्षर सीखते दिखे। कल्लरपुर गुर्जर गांव के मेन सिंह ने शिकायत दर्ज की, जिसमें फरहाद पर बच्चों को “राजनीतिक वर्णमाला” सिखाने का आरोप लगाया गया। SP सिटी व्योम बिंदल ने बताया कि FIR भादंसं की धारा 351(2) (आपराधिक साजिश) और अन्य प्रासंगिक धाराओं के तहत दर्ज की गई है। जांच जारी है।
अखिलेश यादव का तीखा हमला
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने X पर सरकार की आलोचना करते हुए लिखा, “पढ़ाई के लिए तो अंग्रेजों ने भी FIR नहीं की थी। BJP का शिक्षा विरोधी चेहरा अब जनता के सामने उजागर हो गया है। अब BJP हमेशा के लिए खत्म हो जाएगी। निंदनीय।” उन्होंने इसे बच्चों के शिक्षा के अधिकार पर हमला बताया और कहा कि सपा ऐसी पाठशालाएं हर उस गांव में खोलेगी, जहां BJP सरकार स्कूल बंद कर रही है।
फरहाद का बचाव: ‘सामाजिक चेतना का पाठ’
फरहाद आलम ने अपने बचाव में कहा कि PDA पाठशाला का उद्देश्य केवल वर्णमाला सिखाना नहीं, बल्कि बच्चों को समाजवादी विचारधारा के “महान नेताओं” जैसे अखिलेश यादव, मुलायम सिंह यादव, और बाबासाहेब आंबेडकर से परिचित कराना है। उन्होंने कहा, “आज का बच्चा कल का नागरिक है। अगर हम उनकी सोच को मजबूत करेंगे, तो वे भविष्य में अन्याय के खिलाफ खड़े होंगे।” फरहाद ने पूरे जिले में ऐसी पाठशालाएं शुरू करने की योजना भी जाहिर की।
BJP का पलटवार
उत्तर प्रदेश BJP अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी ने सपा पर बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ और परिवारवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “सपा बच्चों को A फॉर अब्दुल कलाम की जगह A फॉर अखिलेश पढ़ा रही है। यह उनकी परिवारवादी सोच को दर्शाता है।” उन्होंने सुझाव दिया कि बच्चों को देश के महान नेताओं और समाज सुधारकों के बारे में पढ़ाना चाहिए।