नई दिल्ली: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बड़ी घोषणा करते हुए बताया कि जम्मू-कश्मीर में दो प्रमुख अलगाववादी समूहों ने अलगाववाद से नाता तोड़ने का ऐलान किया है। उन्होंने इसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीतियों की बड़ी जीत करार दिया है।
हुर्रियत समूहों ने छोड़ा अलगाववाद
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि हुर्रियत, जम्मू-कश्मीर पीपुल्स मूवमेंट और डेमोक्रेटिक पॉलिटिकल मूवमेंट ने अब अलगाववादी विचारधारा को त्यागने का फैसला किया है। यह फैसला जम्मू-कश्मीर में शांति और स्थिरता की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
मोदी सरकार की नीतियों का असर
अमित शाह ने कहा कि यह बदलाव प्रधानमंत्री मोदी की सख्त नीतियों और विकास योजनाओं का परिणाम है। धारा 370 हटने के बाद सरकार ने आतंकवाद और अलगाववाद पर बड़ी चोट की है, जिससे अब कई अलगाववादी समूह मुख्यधारा की राजनीति में लौटने लगे हैं।
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कश्मीर में नए युग की शुरुआत?
केंद्र सरकार का दावा है कि इन संगठनों के निर्णय से जम्मू-कश्मीर में शांति और विकास को बढ़ावा मिलेगा। इसके अलावा, यह अलगाववादी विचारधारा को समाप्त करने में मील का पत्थर साबित हो सकता है।
सरकार का अगला कदम अब यह सुनिश्चित करना होगा कि घाटी में शांति बनी रहे और सभी गुट लोकतांत्रिक प्रक्रिया में भाग लें।